सिट्टी गांव की लड़कियां फुटबॉल और एथलेटिक्स में नई ऊंचाइयां छू रही हैं—कभी बिना बूट खेले, तो कभी बकरी बेचकर जूते खरीदे। संसाधनों की कमी उनके हौसले को नहीं रोक सकी। जाने सर्वेंद्र विक्रम के इस अनुभव में, कैसे संकल्प ने सपनों को उड़ान दी।
Read Moreश्रीरामपुर गांव में, स्कूल बंद होने के बावजूद, बच्चे सीखने में जुटे हैं। घर के आंगन में चल रही इस अनौपचारिक कक्षा को देखकर गांव के लोग भी रुचि ले रहे हैं। सर्वेंद्र विक्रम ने अपनी यात्रा के दौरान इस माहौल को करीब से देखा।
Read Moreपटना के गायघाट मुहल्ले में, प्रथम के सेकेन्ड चांस प्रोग्राम से जुड़ी लड़कियां अपनी पढ़ाई दोबारा शुरू कर रही हैं। दसवीं पास करने की तैयारी के साथ, वे अपने सपनों को नई उड़ान देने के लिए तैयार हैं। सर्वेंद्र विक्रम ने अपनी हालिया यात्रा में इन लड़कियों से मुलाकात कर उनके संकल्प और विश्वास को करीब से देखा है।
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